आपके मुंह में ही है आपके अनेक रोगों की दवा लार का उपयोग कर पाये मर्ज पर काबू
लार का महत्व:
लार का महत्व जानिए और ये उपाय रात्रि में सोने से पहले, दातों को साफ करके सोएँ और सुबह उठकर बीना कुल्ला किये, बिना थूके प्रयोग करें।
ये मुंह की लार हमारे शरीर के लिए सर्वोत्तम हैं।
1:- यदि किसी की आखों के नीचे काले घेरे हो गये हैं, वो सुबह मुह की लार से धीरे धीरे मालिश करें।
2:- जिनको चश्मा लगा है वे सुबह उठकर आखों में ये मुह लार लगाये।
3:- डायबिटीज के रोगियों को जहाँ चोट लगी हो, वहां सुबह की लार लगाये।
4:- जिन लोगों के जलने का दाग नही जा रहा वे इसी लार की मालिश करें।
5:- जिन लोगों के दाद हो गये हैं वे भी इस लार को प्रतिदिन सुबह उठते ही अपने मूंह की लार लगाये।
और भी अनेको बीमारी का इलाज है ये मुह की लार:
मुंह की लार में टायलिन नामक एंजाइम होता है जो हमारी पाचन क्रिया को बढाता है।
गुटका सेवन और केंसर
जो लोग गुटखा खाते हैं या थूकते रहते हैं, धीरे धीरे ये लार बनना बंद हो जाती है और मुह के कैंसर होने की संभावना बढ़ जाती है।
दातुन का प्रयोग
इस लार का PH मान 8.3 होता है और आप सभी माने तो पेस्ट करना बंद करे क्योकि इससे लार को हम थूक देते हैं। इसके स्थान पर नीम या बबूल की दातुन करे क्यूंकि दातुन करने से लार सर्वाधिक लार बनती है।जितनी दातुन की, उसे काट कर निकाल दे और पानी मे भिगोकर रखें।अगले दिन फिर उसी दातुन को पर्योग करें।
ये परिणाम सिर्फ शाकाहारी ही ले सकते हैं।